गर्भावस्था मे केसर लेने के फायदे

हम सभी जानते है कि केसर खुशबूदार और बहुत ही सुंदर दिखता है । यह लोकप्रिय मसालों मे से एक है इसे ‘मसालो के राजा' के रूप में जाना जाता है । यह दुनिया के कई हिस्सों में उगाया जाता है लेकिन बहुत कम मात्रा मे, शायद इसलिए यह इतना महंगा मिलता है।
इस खुशबूदार मसाले के अनेको स्वास्थ्य लाभ हैं यह अस्थमा, खांसी काली खांसी, पेट फूलना, अवसाद, जलन, दर्द, कैंसर और उपचार में उपयोगी है। केसर मासिक धर्म में ऐंठन और महिलाओं में बांझपन और पुरुषों में बांझपन का इलाज कर सकता है।इसको हम स्वादिष्ट और सुंदर खाना बनाने मे भी उपयोग करते है।
इसके बहुत से स्वास्थ्य लाभों के लिए इसका काफी उपयोग किया जाता है। यह विशेष रूप से गर्भवती महिलाओं के लिए उपयोगी है जो गर्भावस्था के दौरान कई स्वास्थ्य समस्याओं का सामना करती हैं ।
गर्भवती महिलाओं के लिए केसर का कुछ प्रमुख उपयोग / Saffron during Pregnancy | Kesar During Pregnancy In Hindi
- रक्तचाप को नियंत्रित करता है
एक गर्भवती महिला बदलते मूड(मन) और असंतुलित रक्तचाप का अनुभव करती है। गर्भावस्था के दौरान रक्तचाप की अनिश्चित गति बढ़ती है जिससे उच्च रक्तचाप और कम रक्तचाप हो जाता है। केसर रक्तचाप को संतुलित करता है।
- पाचन में सुधार
गर्भवती महिला अक्सर गैस के कारण अपच से ग्रस्त होती है केसर में एक झिल्ली बनाने की क्षमता होती है जो अपच का कारण गैस्ट्रोइंटेस्टाइनल अम्लता(एसिड) से बचाने मे मदद करता है।
- मांसपेशियों मे आराम
गर्भवती महिलाओं को ऐंठन होने का खतरा होता है, जैसेकि मांसपेशियों या मांसपेशियों के समूह मे ऐंठन या खिचाव होता है। जिसमे हड्डीयो की मांसपेशी या नरम मांसपेशी शामिल हो सकते हैं। प्रसव के समय यह समस्या चिंताजनक हो सकती है जब मांसपेशियों को अधिक लचीला होना चाहिए। गर्भावस्था के प्रारंभिक महीनों के बाद नियमित रूप से केसर का सेवन करे क्युकि यह मांसपेशियों मे आराम दिलाने मे एक अछ्छा उपाय है।
- एनीमिया को रोकता है
केसर मे आयरन होने के नाते, यह खून में हीमोग्लोबिन का स्तर बढ़ता है और एनीमिया को रोकता है। केसर में पाया जाने वाला आएरन खून को शुद्ध करने और एनीमिक स्थितियों का उपचार करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है।
- सुबह की थकावट(मोर्निंग सिक्नेस) का इलाज
सुबह की थकावट गर्भवती महिलाओं की एक आम शिकायत होती है जैसेकि चक्कर आना ओर जी मिचलाना यह रात भर शरीर में होने वाली मेटबोलिक गतिविधि में बढ़ोतरी के कारण होता हैं, जिससे उनका गर्भ बढ़ता रहे। रोज सुबह दूध के साथ केसर का सेवन करने से सुबह की बीमारी से राहत मिलती है। इस ब्लॉग को जरूर पढ़ें:- क्या हैं प्रेगनेंसी में जी मचलाना या मॉर्निंग सिकनेस के कारण?
गर्भावस्था में केसर का प्रयोग करने में बरतें ये सावधानियां / Saffron: Uses, Side Effects, Interactions, Dosage, and Warning In Hindi
गर्भवती महिलाये केसर को 2-4 दानो से ज्यादा उपयोग ना करे। अत्यधिक खपत से उल्टी,संवेदनशीलता या गर्भपात भी हो सकता है। केसर शरीर की गर्मी को बढ़ाता है इसलिये बड़ी मात्रा में इसका सेवन करने से नाक या पलको से खुन आना, चक्कर आना, असंतुलन और मूत्र या मल में खून में खून आना जैसी समस्या आ सकती है, जो गर्भवती महिलाओं के स्वास्थ् को बुरा असर कर सकता है, इसलिये इसका सेवन जरुर करे पर एक मात्रा मे साथ ही साथ डॉक्टरी सलाह भी लें।
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