क्या है Wheat एलर्जी और जानें क्या हैं इसके समाधान

पिछले कुछ साल से बच्चों को व्हीट एलर्जी यानी ग्लूटोन से एलर्जी नाम की बीमारी बहुत परेशान कर रही है। यह अलग तरह की बीमारी है, इसके खतरे दूसरी बीमारियों की तरह नहीं हैं, यह जानलेवा भी नहीं है। पर समय पर इसका समाधान न हो तो यह दूसरे जटिल रोगों का रूप ले सकती है। इसे सीलिएक डिजीज भी कहा जाता है। जागरूकता के अभाव में इस बीमारी से पीड़ित बच्चों का न तो पूरी तरह विकास हो पाता है और न सही से इलाज ही होता है। आज हम बात करेंगे इसी बीमारी पर। क्या है व्हीट एलर्जी, क्या हैं इसके लक्षण और इससे कैसे बचना चाहिए।
क्या है ये व्हीट एलर्जी/ What Is Wheat Allergy In hindi
- डॉक्टरों के अनुसार यह ऑटो इम्यून डिजीज है।
- इस बीमारी से पीड़ित लोगों को गेहूं, जौ और ओट्स में मौजूद ग्लूटोन नामक प्रोटीन की एलर्जी होती है।
- यह वंशानुगत बीमारी है। इसके मामले मुख्य रूप से बच्चों में ही देखने को आते हैं, लेकिन समय पर इलाज न होने से यह रोग वयस्क अवस्था में भी जारी रहता है।
- डॉक्टरों की मानें तो इस बीमारी में शरीर की रोग प्रतिरोधक क्षमता अपने ही एक प्रोटीन के खिलाफ एंटी बॉडीज बनाना शुरू कर देती है।
- डॉक्टरों की मानें तो इससे बच्चों के पेट की छोटी आंत को नुकसान पहुंचता है। इससे आंत की पोषक तत्वों को सोखने की क्षमता घटने लगती है।
- आंकड़ों पर नजर डालें तो देश में हर सौ में से एक बच्चा इस बीमारी से पीड़ित है। यानी अनुमान के मुताबिक 1 करोड़ 25 लाख बच्चे इसके शिकार हैं। दिल्ली-एनसीआर में ही इस बीमारी से पीड़ित बच्चों की संख्या करीब डेढ़ लाख है।
क्या हैं व्हीट एलर्जी के लक्षण / What Are the Symptoms Of Wheat Allergy In Hindi
- डॉक्टरों के अनुसार इस बीमारी के मुख्य लक्षण दस्त लगना, पेट फूलना, बच्चे का विकास रुक जाना, एनीमिया, रिकेट्स, ओस्टोपोरोसिस, कद का छोटा होना व शरीर का कमजोर होना है।
- अगर यह बीमारी लंबे समय तक जारी रहे, तो आंतों के कैंसर और लिम्फोमा (प्रतिरोध प्रणाली के कैंसर) का खतरा पैदा हो जाता है।
- इसके अलावा इस बीमारी में बार-बार छींक, त्वचा पर चकते, मुंह और गले में जलन, गठिया, सीने में दर्द, खांसी, उल्टी, चक्कर आना व थकान की समस्या भी आती है।
सावधानी जरूरी
इस बीमारी का कोई इलाज नहीं है, लेकिन खाने में ग्लूटोन के तमाम स्रोतों से युक्त आहार से परहेज करके इस बीमारी से बचा जा सकता है। व्हीट एलर्जी से पीड़ित बच्चे को आजीवन ग्लूटोन युक्त खाद्य वस्तुओं से परहेज करना पड़ता है। इस नियम का पालन करने के लिए खाने-पीने के मामले में कड़े संयम व सावधानी की जरूरत है। इस ब्लॉग को तो जरूर पढ़ लें :- फूड आइटम्स से भी हो सकता है आपके बच्चों को एलर्जी
कौनसा आहार बनता है व्हीट एलर्जी का कारण / Which Diet Is The Cause Of Wheat Allergy In Hindi
डॉक्टरों के अनुसार इस बीमारी से पीड़ित बच्चों या बड़ों को बिस्कुट, रोटी, ब्रेड, मट्ठी या कोई भी ऐसी चीज नहीं खानी चाहिए जिसमें ग्लूटोन हो। गेहूं, जौ और राई से तो बिल्कुल ही परहेज करना चाहिए। इसके अलावा फास्ट पिज्जा, पास्ता, मफिन्स, कुकीज, बियर, आइसक्रीम, नूडल्स व जेली बीन आदि में भी ग्लूटोन हो सकता है। ऐसे में इससे भी परहेज करना चाहिए।
क्या खाएं
ग्लूटोन से मुक्त आहार के लिए चावल, मक्का, ज्वार व सभी प्रकार की फलियां, फल, सब्जियां, दूध व दही जैसे पदार्थ लिए जा सकता हैं।
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